मुस्लिमों ने पेश की अनूठी मिसाल, हिन्दुओं के लिए बदला इबादत का समय

The unique example of Muslims presented, Namaz time change for conversion of Hindus Samastipur Now
0 338
Above Post Campaign

लखनऊ: वर्तमान में हिन्दू और मुस्लिम दो ऐसे अभिन्न समुदाय हैं जिनका नाम आते ही राजनीति शुरू हो जाती है. शब्दों में ऐसी धारणा बनाई जा चुकी है कि हिन्दू मुस्लिम नदी के दो अलग-अलग किनारे हैं. हमारे देश में त्योहार न सिर्फ खुशियाँ मनाने के सबसे बेहतरीन मौके के तौर पर आता है बल्कि दुनिया के सबसे बड़े मजहब इंसानियत को जीवन का पर्याय बनाने के तौर पर भी.

राजनीतिक परिपाटी के ये दो सबसे धुर-विरोधी सिरे अगर एक दूसरे की भावनाओं की कद्र करने लगें, एक दूसरे को धर्म नहीं इंसानियत के पहलू से समझने लग जाएँ तो शायद इनके नाम पर चलने वाली राजनीति की दुकानों पर ताला पड़ते देर नहीं लगेगी. ऐसी ही पहल नवाबों की नगरी और तहजीब के शहर लखनऊ में देखने को मिली है.

Uttar Pradesh की गंगा-जमुनी तहजीब की मिसाल कायम रहे इसके लिए Capital Lucknow के मुस्लिम धर्मगुरुओं ने भी एक बड़ी पहल की है. दरअसल इस बार होली शुक्रवार को खेली जाएगी और इसी दिन जुमे की नमाज़ होने की वजह से मौलानाओं ने नमाज़ का समय बदलकर दोपहर एक बजे के बाद रख दिया है.

वहीं होली का त्योहार शांति और सौहार्दपूर्ण तरीके से मनाई जा सके इसके लिए प्रशासन और शासन मुस्तैद है.

Middle Post Banner 1
Middle Post Banner 2

Islamic Center of India के Chairman Maulana Khalid Rasheed Firangi Mahali ने बताया कि Aishbagh स्थित ईदगाह में जुमे की नमाज दोपहर 1.45 बजे अदा की जाएगी. वहीं, मौलाना कल्बे जव्वाद के मुताबिक बड़ा इमामबाड़ा स्थित असिफी मस्जिद में नमाज़ 1 बजे अदा की जाएगी. वैसेसामान्य दिनों में Aishbagh स्थित ईदगाह में जुमे की नमाज 12.45 पर अदा की जाती है जबकि असिफी मस्जिद में नमाज का वक्त 12.20 बजे है.

DGP O. P. Singh ने कहा कि जब भी कोई बड़ा त्योहार या अवसर हो उस वक्त शांति व्यवस्था कायम रहे यह हमारी जिम्मेदारी है. त्योहार की महत्ता को समझते हुए और वातावरण को उपयुक्त बनाए रखने के लिए तीन मार्च तक पुलिसकर्मियों की छुट्टी रद्द कर दी गई है.

उन्होंने कहा कि जनता को सुरक्षा मुहैया कराने साथ ही सौहार्दपूर्ण माहौल बनाए रखने के लिए Police हमेशा से तत्पर रही है.

वहीं फिरंगीमहली ने कहा कि हिंदू-मुस्लिम भाईचारे का उदहारण एक बार फिर पेश करने का यह अच्छा अवसर है. दूसरी तरफ मौलाना कल्बे जव्वाद ने कहा कि हमारे देश की परंपरा है कि सब लोग हर त्योहार को मिलजुलकर मनाते हैं. ऐसे में होली खेलने वाले और जुमे की नमाज़ अदा करने वालों को कोई दिक्कत न हो इसलिए जुमे की नमाज़ का वक्त बढ़ा दिया गया है.

हिन्दू मुस्लिम एकता को लेकर हमारे अतीत के पन्नो में अनेकों कहानियां दर्ज हैं. आन्दोलन से लेकर आजादी तक हिन्दू मुस्लिम समुदाय ने एक साथ कदमताल की है. ऐसे में आज के माहौल में ऐसी कोशिश निश्चित तौर पर काबिल-ए-तारीफ़ है.

Below Post Banner
After Tags Post Banner 1
After Tags Post Banner 2
After Related Post Banner 2
After Related Post Banner 1
After Related Post Banner 3
Leave A Reply

Your email address will not be published.

This website uses cookies to improve your experience. We'll assume you're ok with this, but you can opt-out if you wish. Accept Read More

Close